जावरा। खेती किसानी के लिए फायनेंस पर ट्रेक्टर लेकर उसे बेचने के मामले में न्यायिक प्रथम मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी हर्षिता पिपरेवार ने मोतीलाल पिता शंभुलाल (27) निवासी निपानिया थाना पिपलौदा को भादवि की धारा 420 के तहत दोषी पाते हुए 2 वर्ष के सश्रम कारावास और 2 हजार रुपए के अर्थदण्ड से दण्डित किया हैं। प्रभारी जिला लोक अभियोजन अधिकारी विजय कुमार पारस ने बताया कि दिनांक 17 जनवरी 2015 को फरियादी बलराम पिता मधुसूदन शर्मा निवासी सुखेड़ा ने थाना औ.क्षै.जावरा पर आवेदन प्रस्तुत किया, जिसमें बताया कि वह गाँव-गाँव में जाकर ट्रैक्टर विक्रय करवाता है। उससे भैरूलाल पिता गोविन्द, पप्पु पिता रामाजी निवासी तरखेडी व राकेश पिता जगदीश व मोतीलाल पिता शम्भूलाल निवासी निपानिया ने फरियादी से सम्पर्क कर आयशर ट्रैक्टर खरीदने की बातचीत की। इसके बाद दिनांक 19 मई 2014 को राकेश व मोतीलाल रतलामी नाका स्थित शौरूम पर आये और आयशर ट्रैक्टर मॉडल 485 पसंद किया, जिसकी किमत 5,40,000 रूपये थी जिसमें से 70,000 रूपये नगद दिये तथा शेष राशि 4,70,000 रूपये फायनेंस कम्पनी से प्राप्त कर देने का कहा और शुभ मुहुर्त का बताकर ट्रैक्टर व एसेसिरीस ले गये और कहा कि महूर्त होने से ट्रैक्टर ले जा रहे है, जिसे कल वापस लाकर दे देंगे व राशी फायसेंस से भुगतान होने पर ही ट्रेक्टर ले जायेंगे। कुछ दिन बाद दिनाँक 26 मई 2014 को भैरुलाल और पप्पू शौरुम पर आए और आयशर ट्रैक्टर मॉडल 485 पंसद किया, जिसकी कीमत 5,40,000 रूपये थी, जिसमें 70,000 रूपये भैरूलाल ने नगद जमा करवाये व शेष राशि 4,70,000 रुपयें फायनेंस कम्पनी से प्राप्त कर देने का कहकर ट्रैक्टर को डेमोस्ट्रेसन करवाने के लिए लेकर चले गये और वापस ट्रैक्टर लेकर नहीं आये। फरियादी ने राकेश, मोतीलाल, भैरुलाल व पप्पु से ट्रेक्टर की शेष राशि 4,70,000-4,70,000 की मांग की तो चारो ने कहा कि अभी हमारे पास पैसे नही है और हम कोई लोन फायनेंस नही करवा सकते है। ट्रैक्टर की मांग करने पर कुछ दिन बाद ट्रैक्टर लाकर देने की बात कही। फरियादी द्वारा गांव में तलाश करने पर पता चला की शोरुम से लिये दोनो ट्रेक्टर अभियुक्तगण राकेश, मोतीलाल, भैरुलाल व पप्पु ने मध्यप्रदेश के बाहर बेच दिये है। फरियादी के आवेदन पर थाना औ.क्षै.जावरा पर धारा 420, 406, 34 भादवि का अपराध पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया। संपूर्ण विवेचना उपरांत अभियोग पत्र माननीय न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किया गया। सहायक जिला लोक अभियोजन अधिकारी भुपेन्द्र कुमार सांगते ने शासन की ओर से पैरवी कर साक्ष्य लेखबद्ध कराई गई। विचारण उपरांत साक्ष्य के आधार पर न्यायाधीश ने आरोपी को उक्त सजा से दण्डित किया हैं।
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